बिलासपुर: हिमाचल प्रदेश के बिलासपुर जिले के बरठीं के भल्लू में मंगलवार, 7 अक्टूबर शाम को यात्रियों से भरी एक प्राइवेट बस लैंडस्लाइड की चपेट में आने से 16 लोगों की मौत हो गई. इस हादसे में 2 बच्चे घायल हुए हैं, जिन्हें उपचार के बाद बिलासपुर एम्स से छुट्टी दे दी गई है. बारिश और भूस्खलन के कारण देर रात बचाव कार्य रोक दिया गया था. आज (बुधवार, 8 अक्टूबर) सुबह से एक बार फिर से राहत एवं बचाव कार्य शुरू किया गया, इस दौरान लापता बच्चे की बॉडी मिली. सुबह से मृतकों का पोस्टमार्टम भी कराया जा रहा है.
CHC बरठीं में मृतकों का पोस्टमार्टम
बिलासपुर के सीएचसी बरठीं में सभी 16 मृतकों का पोस्टमार्टम किया जा रहा है. सीएमओ बिलासपुर की ओर से अतिरिक्त डॉक्टरों की व्यवस्था की गई है. सीएमओ शशिदत्त शर्मा ने कहा है, पोस्टमार्टम सुबह लगभग 7:00 बजे शुरू हुआ और 10:30 बजे तक पूरा होने की संभावना है.
रेस्क्यू अभियान जारी
बिलासपुर प्रशासन के मुताबिक, बारिश और भूस्खलन के कारण मंगलवार देर रात लगभग 2:30 बजे बचाव कार्य रोक दिया गया था. मौसम कुछ ठीक होने के साथ ही सुबह 6:40 बजे फिर से बचाव अभियान शुरू किया गया. लापता बच्चे की तलाश में NDRF और प्रशासन की टीम सुबह से रेस्क्यू ऑपरेशन में जुटी थी, दुर्घटना स्थल से मलबा हटाने के दौरान बच्चे की बॉडी मिली.
बिलासपुर बस हादसे में मृतकों की संख्या पहुंची 16
बिलासपुर जिले के झंडूता तहसील के अंतर्गत पड़ने वाले गांव भल्लू (पटवार सर्कल बडगांव) में सोमवार शाम (07 अक्टूबर 2025) करीब 6:40 बजे हुए दर्दनाक भूस्खलन हादसे में लापता बच्चे का शव भी बरामद कर लिया गया है. इसके साथ ही इस भीषण हादसे में मरने वालों की कुल संख्या अब 16 हो गई है, जिनमें 11 पुरुष, 4 महिलाएं और 1 बालक शामिल हैं. इसके अलावा, 2 बच्चे (1 लड़का और 1 लड़की) को मामूली चोटें आई थीं, जिन्हें एम्स बिलासपुर में उपचार के बाद आज सुबह छुट्टी दे दी गई है.
मृतकों के परिजनों को प्रशासन की ओर से 25 हजार की फौरी राहत
घटनास्थल पर एडीसी बिलासपुर, एसपी बिलासपुर और एसडीएम झंडूता स्वयं मौजूद रहे. एनडीआरएफ, क्यूआरटी और होमगार्ड की टीमों के साथ मिलकर राहत, खोज एवं पुनर्प्राप्ति कार्यों की निगरानी करते रहे. सभी 16 मृतकों के शवों का पोस्टमार्टम सामुदायिक स्वास्थ्य केंद्र (CHC) बरठीं में किया जा रहा है. सीएमओ बिलासपुर द्वारा अतिरिक्त डॉक्टरों की तैनाती की गई है. प्रशासन की ओर से मृतकों के परिजनों को ₹25,000 की फौरी राहत राशि प्रदान कर दी गई है. इसके अतिरिक्त राज्य आपदा राहत कोष के अंतर्गत मिलने वाली अन्य सहायता की प्रक्रिया भी तेजी से की जा रही है.
