नारायणपुर :- झोलाछाप डॉक्टर से इलाज और उनका परामर्श किसी मरीज के लिए किस तरह जी का जंजाल बन सकता है, इसकी बानगी बस्तर संभाग के नारायपुर में देखने को मिली है। एक मरीज अपनी समस्या लेकर झोलाछाप डॉक्टर के पास पहुंचा था लेकिन इस झोलाछाप डॉक्टर ने जो इलाज मरीज को बताया, वह उलटे उसके जान का दुश्मन बन गया।
नारायणपुर के जिला अस्पताल में ओरछा क्षेत्र के जाटलूर गांव के एक पुरुष मरीज ने एक सप्ताह तक दर्द और तकलीफ़ झेलने के बाद अस्पताल पहुंचकर राहत की सांस ली है। जानकारी के अनुसार, मरीज को एक ने हफ़्ते पहले जलन के साथ पेशाब आने, बुखार और सिरदर्द की शिकायत हुई थी। गांव के एक झोलाछाप ने इलाज़ के बजाय मरीज को गुप्तांग में अंगूठी पहनने की सलाह दी।
जिला अस्पताल के डॉ. धनराज सिंह डरसेना और डॉ. शुभम राय ने मामले का परीक्षण किया। लगभग दो घंटे की कठिन मेहनत और आपसी तालमेल के बाद उन्होंने अंगूठी को काटकर मरीज को दर्द से मुक्त किया।