रायपुर : नक्सल प्रभावित बीजापुर के पीडिया गांव में पिछले दिनों हुए नक्सली मुठभेड़ पर राजनीति गरमाने लगी है। कांग्रेस ने पीडिया में हुए नक्सली मुठभेड़ की जांच के लिए 8 सदस्यी टीम का गठन किया है। प्रदेश कांग्रेस कमेटी ने पूर्व विधानसभा उपाध्यक्ष संतराम नेताम को समिति का संयोजक बनाया है। बीजापुर जिले के पीडिया के जंगलों में बीते 10 मई को हुए पुलिस-नक्सली मुठभेड़ पर प्रदेश की सियासत गरमाने लगी है। इस मुठभेड़ को पहले जहां स्थानीय आदिवासी ग्रामीणों ने फर्जी बताया था।
वहीं अब कांग्रेस भी इस मुठभेड़ को लेकर सूबे की विष्णुदेव सरकार को घेरने का प्रयास कर रही है। पिछले दिनों ही बस्तर से लोकसभा प्रत्याशी और और पूर्व मंत्री कवासी लखमा इस मुठभेड़ को फर्जी बताते हुए इस मुठभेड़ की न्यायिक जांच की मांग छत्तीसगढ़ सरकार से की थी। यही नही कवासी लखमा ने आरोप लगाया था कि छत्तीसगढ़ में बीजेपी सरकार बनने के बाद नक्सलियों के एनकाउंटर के नाम पर निर्दोष आदिवासियों को मारा जा रहा है। पुलिस-नक्सली मुठभेड़ को लेकर प्रेदश में व्याप्त राजनीति के बीच अब कांग्रेस ने पीडिया नक्सली मुठभेड़ के लिए जांच समिति गठित कर दी है।
8 सदस्यी इस जांच समिति में पूर्व विधानसभा उपाध्यक्ष संतराम नेताम को समिति का संयोजक बनाया है। वहीं समिति में मोहला मानपुर, बीजापुर, बिन्द्रानवागढ़, और भानुप्रतापपुर विधायकों के साथ ही दंतेवाड़ा की पूर्व विधायक देवती कर्मा को सदस्य बनाया गया है। प्रदेश कांग्रेस कमेटी द्वारा जांच समिति का गठन करते हुए सभी सदस्यों को तत्काल प्रभावित गांव का दौरा कर ग्रामवासियों कर घटना की हकीकत पता लगाने का निर्देश दिया गया है।
