रायपुर। छत्तीसगढ़ के बस्तर संभाग के सुकमा और बीजापुर जिलों में सक्रिय 64 नक्सलियों ने आज तेलंगाना पुलिस के सामने आत्मसमर्पण कर दिया। इस समूह में 16 महिलाएं भी शामिल हैं, जो विभिन्न नक्सली बटालियनों का हिस्सा थीं। इन माओवादियों ने समाज की मुख्यधारा में लौटने का फैसला करते हुए तेलंगाना के पुलिस मुख्यालय में मल्टी जोन-1 के आईजीपी चंद्रशेखर रेड्डी के समक्ष हथियार डाल दिए।
यह आत्मसमर्पण एक ऑपरेशन कार्यक्रम के तहत हुआ, जिसे पुलिस ने सफलतापूर्वक अंजाम दिया। बता दें कि पिछले तीन महीनों में यह दूसरी बड़ी घटना है, जिसमें माओवादी संगठनों से जुड़े लोगों ने हथियार छोड़कर समाज में शामिल होने का निर्णय लिया है। अब तक 122 नक्सलियों ने आत्मसमर्पण किया है। आत्मसमर्पण करने वालों में डवीसीएम, एसीएम, मिलिशिया सदस्य, पार्टी सदस्य और पीपीसीएम जैसे पदों पर कार्यरत लोग शामिल हैं।
ये नक्सली आदिवासी क्षेत्रों में विकास को बाधित करने वाली माओवादी गतिविधियों से तंग आ चुके थे और अब विकास में सहयोग देने के लिए तैयार हैं। तेलंगाना पुलिस ने आत्मसमर्पण करने वाले प्रत्येक नक्सली को 25,000 रुपये की नकद प्रोत्साहन राशि प्रदान की। इस मौके पर रेंज आईजी चंद्रशेखर रेड्डी, एसपी रोहित राज सहित कई वरिष्ठ पुलिस अधिकारी मौजूद रहे। सरकार की पुनर्वास योजना के तहत इन नक्सलियों को नई जिंदगी शुरू करने का मौका दिया जाएगा, ताकि वे समाज के विकास में योगदान दे सकें।